बिहार। बिहार (Bihar) की सियासत में एक बार फिर बड़ा उलटफेर देखने को मिला। नीतीश कुमार (Nitish Kumar) ने आज सीएम पद से इस्तीफा दे दिया। अब नीतीश कुमार भाजपा के साथ मिलकर सरकार बनाएंगे। नीतीश कुमार (Nitish Kumar) की बात की जाए तो पाला बदलने के नाम से ‘नेता जी’ मशहूर हैं।
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साल 2014 की बात करें तो नीतीश कुमार (Nitish Kumar) लोकसभा चुनाव (Lok Sabha election) से पहले साल 2013 में एनडीए (NDA) से अलग हुए थे। बाद में उन्होंने आरजेडी और कांग्रेस के साथ मिलकर महागठबंधन बनाया। साल 2017 की बात करें तो वो महागठबंधन से अलग होकर फिर से एनडीए में शामिल हुए। बाद में वो एनडीए (NDA) से नाता तोड़कर फिर महागठबंधन में आए।
आपको बता दें 243 सदस्यीय बिहार (Bihar) विधानसभा में सरकार के सामान्य बहुमत के लिए 122 सदस्यों का समर्थन चाहिए। भाजपा के 78, जदयू के 45 और हिन्दुस्तानी अवाम मोर्चा के चार विधायकों के अलावा निर्दलीय सुमित कुमार सिंह के समर्थन से बहुमत का आंकड़ा हासिल हो जाता है। 10 अगस्त 2022 से पहले तक नीतीश (Nitish Kumar) की सरकार इसी आंकड़े के बल पर चल रही थी।
जानकार कहते हैं कि बिहार (Bihar) में जब तक कोई दल किसी दूसरे का साथ न ले तब तक सरकार नहीं बना सकता है। नीतीश (Nitish Kumar) ने दोनों ओर से दरवाजे खुले रखे हैं- राजद के लिए भी और भाजपा के लिए भी। जब उनको राजद के साथ मुश्किल होती है तो वो भाजपा के साथ चले जाते हैं। जब भाजपा के साथ मुश्किल होती है तो वो राजद के साथ चले जाते हैं।
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