डेस्क। कलकत्ता हाईकोर्ट के जज से भाजपा नेता बने अभिजीत गंगोपाध्याय (Abhijit Gangopadhyay) को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) के खिलाफ विवादित बयान देना भारी पड़ा है। चुनाव आयोग ने अभिजीत गंगोपाध्याय के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की है। उन्हें चुनाव प्रचार करने से रोक दिया है।
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चुनाव आयोग (Election Commission) ने बताया कि तामलुक सीट से भाजपा उम्मीदवार अभिजीत गंगोपाध्याय (Abhijit Gangopadhyay) 21 मई की शाम 5 बजे से अगले 24 घंटे के लिए चुनाव प्रचार नहीं कर पाएंगे। आयोग (Election Commission) ने अभिजीत गंगोपाध्याय (Abhijit Gangopadhyay) को आदर्श आचार संहिता के दौरान अपने सार्वजनिक बयानों में सावधानी बरतने की भी सख्त चेतावनी दी है।
दरअसल अभिजीत गंगोपाध्याय (Abhijit Gangopadhyay) ने 16 मई मिदनापुर के चैतन्यपुर में एक चुनावी रैली को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि तृणमूल कांग्रेस का आरोप है कि संदेशखाली (Sandeshkhali) की उम्मीदवार को 2 हजार रुपए में खरीदा गया था। ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) जी, आपकी कीमत क्या है? 10 लाख रुपए? क्या रेखा पात्रा को 2 हजार रुपए में खरीदा जा सकता है, क्योंकि वह लोगों में घरों में काम करती हैं। एक महिला दूसरी महिला को इतना अपमानित कैसे कर सकती है?

तृणमूल कांग्रेस ने गंगोपाध्याय (Abhijit Gangopadhyay) के इस बयान पर आपत्ति जताते हुए चुनाव आयोग को चिट्ठी लिखी थी। चुनाव आयोग (Election Commission) ने अभिजीत गंगोपाध्याय को नोटिस दिया था और 20 मई की शाम तक का समय दिया गया था। गंगोपाध्याय (Abhijit Gangopadhyay) ने नोटिस का जवाब दिया, लेकिन चुनाव आयोग संतुष्ट नहीं हुआ। चुनाव आयोग (Election Commission) ने कहा कि गंगोपाध्याय की टिप्पणी हर मायने में अपमानजनक और गरिमा से परे है।
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