हेल्थ डेस्क। आज World Thyroid Day पर हम आपको इस बीमारी (disease) के कारणों और लक्षणों के बारे में बताने जा रहे हैं। थायरॉइड एक गंभीर बीमारी है। जब Thyroid Gland सही से काम करना बंद कर देता है तो थायरॉइड हार्मोन की मात्रा असंतुलित हो जाती हैं। थायरॉइड से जुड़ी बीमारियों की बात करें तो तरह की समस्याएं देखने को मिलती हैं। पहला तो हाइपोथायरॉइडिज्म (hypothyroidism), वहीं दूसरा है हाइपरथायरॉइडिज्म।
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एक में तो Thyroid Gland कम हार्मोन रिलीज करता है तो दूसरी बीमारी होने पर थायरॉइड ग्लैंड ज्यादा हार्मोन रिलीज करता है। हर साल 25 मई को World Thyroid Day 2025 मनाया जाता है। इस दिन को मनाने का उद्देश्य लोगों को थायरॉइड से जुड़ी समस्याओं और उनके समाधान के बारे में जागरूक करना है। थायरॉइड की बात करें तो ये छोटी सी ग्रंथि होती है जो हमारे गले में होती है।

हालांकि पुरुषों के मुकाबले, महिलाओं में थायरॉइड से जुड़ी समस्या ज्यादा देखने को मिलती है। महिलाओं में हार्मोनल बदलाव ज्यादा देखने काे मिलते हैं। बचपन से लेकर पीरियड्स, प्रेग्नेंसी, मेनोपॉज के दौरान हार्मोन्स का उतार-चढ़ाव जारी होता है। ऐसे में थायरॉइड ग्लैंड ठीक से काम नहीं कर पाता है। इस कारण महिलाओं में हाइपोथायरॉइडिज्म (hypothyroidism) और हाइपरथायरॉइडिज्म का खतरा बढ़ जाता है। इसके अलावा अगर परिवार में थायरॉइड से जुड़ा कोई इतिहास रहा हो तब भी इसकी समस्या होने के चांस ज्यादा होते हैं।
पुरुषों के मुकाबले महिलाएं ज्यादा तनाव लेती हैं। क्योंकि उन पर घर और ऑफिस दोनों की जिम्मेदारियां होती हैं। तनाव के कारण भी थायरॉइड से जुड़ी बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। आपको बता दें कि तनाव के कारण भी हार्मोन असंतुलित हो सकते हैं। वहीं प्रेग्नेंसी के दौरान भी महिलाओं के शरीर में हार्मोनल बदलाव होते हैं। इसका सीधा असर थायरॉइड पर भी पड़ता है।
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