हेल्थ डेस्क। माइग्रेन (migraine) सिरदर्द का एक प्रकार होता है और यह मस्तिष्क में तंत्रिका तंत्र के विकार के कारण होता है। असल में माइग्रेन सिर में बार-बार होने वाला दर्द है जो खासकर सिर के आधे हिस्से को प्रभावित करता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार दुनिया में लगभग 1 अरब लोग माइग्रेन से पीड़ित हैं।
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इतना ही नहीं समय पर ना खाना, भारी-भरकम एक्सरसाइज, शराब जैसी चीजें इसे ट्रिगर कर सकता है।एक्सपर्ट का कहना है कि यह सिर्फ एक सिरदर्द नहीं, बल्कि दिमाग के काम करने के तरीकों को भी प्रभावित करता है। यह दर्द दिमाग और गर्दन से आने वाले सिग्नल में होने वाली गड़बड़ी का भी नतीजा है। इस दौरान सीजीआरपी नाम का एक खास केमिकल निकलता है जो सिर की नसों पर प्रभाव डालता है और दर्द शुरू हो जाता है। इसके बाद धीरे–धीरे लक्षण और बिगड़ने लगते हैं।

पुरुषों के मुकाबले महिलाओं को ज्यादा प्रभावित करने वाली समस्या माइग्रेन के लक्षण सबमें एक जैसे नजर नहीं आते, लेकिन कुछ आम लक्षण इस प्रकार के हो सकते हैं- दर्द शुरू होने पर कुछ ना कुछ खाने की क्रेविंग बढ़ जाती है। चिड़चिड़ाहट और थकान महसूस होती है। उबासी या नींद जैसी आने लगती है।गर्दन में भी दर्द हो सकता है।
गर्दन और कंधों की टाइटनेस भी कई बार माइग्रेन या सिरदर्द के अटैक का कारण बनती है। इसे दूर करने के लिए एक्यूप्रेशर से काफी मदद मिलती है। लेकिन इसे खुद करने की बजाय किसी एक्सपर्ट से करवाना ज्यादा बेहतर रिजल्ट दे सकता है। इसमें मसाज या चंपी भी काफी आराम पहुंचाती है। इससे टेंशन कम हो जाती है और ब्लड सर्कुलेशन बेहतर हो जाता है।
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