हेल्थ डेस्क। अक्सर पैर ठंडे तब होते हैं जब पैरों (feet) का तापमान शरीर के बाकी हिस्सो के तुलना में कम होता है। लेकिन मुख्य तौर पर जब शरीर में रक्त संचार बाधित होता है और पैरों तक खून नहीं पहुंच पाता, तब ऐसी स्थिति आती है। इसके अलावा जिनमें विटामिन बी-12 की कमी है, उनके शरीर में लाल रक्त कोशिकाएं नहीं बनतीं और पैरों में रक्त संचार बाधित होता है।
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साथ ही एनीमिया, हाई शुगर, हाई कोलेस्ट्राल वाले व्यक्ति को या फिर अगर कोई हैवी मेडिकेशन पर है तो उसके पैर (feet) हर वक्त ठंडे रह सकते हैं। जो लोग ठंडे तापमान में हैं उन्हें शरीर को गर्म रखने की कोशिश करनी चाहिए। पैरों को गर्म रखने के लिए गर्म जूते और चप्पल पहनकर रखें। पैर की ठंड ही शरीर के ऊपरी हिस्सों तक जाती है।
विटामिन बी 12 और आयरन युक्त आहार से शरीर को ताकत मिलती है। इससे हड्डियां मजबूत होने के साथ साथ दर्द भी दूर होता है। इसलिए पालक, चुकंदर, ब्रोकली, डेयरी उत्पाद आदि खाएं, जिनमें ये दोनों मौजूद होते हैं। इनके सेवन से शरीर में रेड ब्लड सेल्स का उत्पादन बढ़ता है।

पैरों (feet) की नसों में ब्लाकेज, निम्न रक्तचाप और शरीर ब्लड सर्कुलेशन कम होना भी इसके प्रमुख कारण हैं। इसे गंभीरता से लेना चाहिए क्योंकि यह हृदय की धमनियों के सिकुड़ने के संकेत भी हो सकते हैं। कई बार रक्तचाप कम होने पर भी पैर ठंडे पड़ जाते हैं। अगर आपके चलने की अवधि कम होने लगती है तो तुरंत पैरों की नसों की जांच कराएं, कहीं ब्लाकेज तो नहीं है। ऐसी स्थिति में धूमपान घातक हो सकता है। इसलिए किसी भी नशीले पदार्थ से दूर रहने की कोशिश करें।
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