नई दिल्ली। आज पूरे देश में संविधान दिवस (Constitution Day) मनाया जा रहा है। यह वहीं ऐतिहासिक दिन है जब 1949 में डॉक्टर भीमराव अंबेडकर की अध्यक्षता में भारतीय संविधान को अपनाया गया था। हालांकि संविधान 26 जनवरी 1950 को लागू हुआ था लेकिन 26 नवंबर इसलिए खास है क्योंकि इस दिन इसे अंतिम रूप दिया गया था।
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संविधान दिवस का उद्देश्य नागरिकों को संविधान के महत्व, अधिकारों और कर्तव्यों के प्रति जागरूक करना है। यह बहुत कम लोग जानते हैं कि भारतीय संविधान दुनिया का सबसे बड़ा लिखित संविधान है। भारत के संविधान में 448 अनुच्छेद, 12 अनुसूचियां और 25 भाग शामिल है। भारतीय संविधान की प्रस्तावना को इसकी आत्मा कहा जाता है।
भारतीय संविधान की मूल कॉपी प्रेम बिहारी नारायण रायजादा ने हाथ से इटैलिक स्टाइल में लिखी थी। यह दस्तावेज संसद भवन की लाइब्रेरी में हिलियम गैस से भरे विशेष शीशे के बॉक्स में सुरक्षित रखा गया है। बहुत सारे लोग नहीं जानते हैं लेकिन 26 जनवरी 1950 को संविधान लागू होने वाले दिन ही अशोक चक्र को भारत का राष्ट्रीय चिन्ह भी घोषित किया गया था।

भारतीय संविधान के पहले ड्राफ्ट में 2000 से भी ज्यादा बदलाव किए गए थे। इससे पता चलता है कि भारतीय संविधान को बनाने में कितने गंभीरता और विचार किया गया था। भारतीय संविधान पर हस्ताक्षर करने वालों में 15 महिलाएं भी शामिल थी। भारतीय संविधान के अंग्रेजी संस्करण में कुल 1,17,369 शब्द है जो भारतीय संविधान को दुनिया के सबसे विस्तृत संविधान में शामिल करता है। भारतीय संविधान को Bag of Borrowings भी कहा जाता है क्योंकि यह अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस, आयरलैंड, ऑस्ट्रेलिया, कनाडा और जापान सहित कई देशों के संविधानों से प्रेरित होकर बनाया गया था।
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