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Sunday, October 12, 2025

आखिर 10 अंकों का ही क्यों होता है मोबाइल नंबर, वजह जान चौंक जाएंगे आप

डेस्क। क्या आपने कभी सोचा है कि मोबाइल नंबर (mobile numbers) सिर्फ 10 अंकों का ही क्यों होता है? भारत में मोबाइल नंबरों के 10 अंकों का होना कोई संयोग नहीं है, बल्कि इसके पीछे एक व्यवस्थित योजना है। जी हां, हम बात कर रहे हैं राष्ट्रीय नंबरिंग योजना (एनएनपी) 2003 की। इस योजना के तहत देश के सभी टेलीकॉम नेटवर्क के लिए एक ही मानक तय है कि सभी मोबाइल नंबर 10 अंकों के ही होंगे।

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भारत में चलने वाले NNP यानी नेशनल नंबरिंग प्लान की वजह से ही सभी फोन नंबर्स 10 डिजिट के होते हैं। हालांकि साल 2003 तक भारत में 9 अंकों का फोन नंबर इस्तेमाल होता था लेकिन तेजी से बढ़ती आबादी के मद्देनजर और कई नए फोन नंबर्स की जरूरत को पूरा करने के लिए TRAI ने इसे 10 डिजिट का कर दिया।

दरअसल नंबर की संख्या 0 से 9 होने पर केवल 10 अलग अलग नंबर बनाए जा सकते हैं, जिन्हें 10 लोग इस्तेमाल करेंगे। वहीं 2 डिजिट्स का फोन नंबर होने पर 0 से लेकर 99 तक नंबर इस्तेमाल करके 100 नए नंबर बनाए जा सकते हैं। ऐसे में फोन नंबर में 10 डिजिट रखे गए, जिससे करोड़ों नए नंबर बनाएं जा सकें।

हर देश अपनी आबादी के हिसाब से मोबाइल नंबर के डिजिट तय करता है। बढ़ती टेक्नोलॉजी के साथ आज हर किसी इंसान के पास मोबाइल फोन मौजूद है। ऐसे में जितने मोबाइल उतनी सिम और उतने ही नए नंबर। दरअसल 140 करोड़ से ज्यादा आबादी वाले भारत में 10 डिजिट का मोबाइल नंबर रखा गया। कैलकुलेशन के मुताबिक, इससे एक हजार करोड़ नए नंबर बनाए जा सकेंगे और फ्यूचर में भी लोगों को अलॉट किए जा सकेंगे।

Tag: #nextindiatimes #mobilenumbers #Technology

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