उत्तराखंड में बनाया जाएगा 825 किलोमीटर लंबा मौसम सदाबहार रोड, केन्द्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने दी जानकारी

पहले इसे मार्च 2020 तक पूरा करने के लिए लक्ष्य रखा गया था। लेकिन अब नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल और सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court ) में चल रहे लिटिगेशन के वजह से इसमें देरी हुई है।

भारत सरकार ने सोमवार को कहा है कि उसने पहाड़ी राज्य उत्तराखंड में 825KM लंबी रोड बनाने की कार्य योजना बनाई है। इसमें से लगभग 12,072 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाली 671KM लंबी सड़क के निर्माण कार्य के लिए मंजूरी दे दी गई है।
केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने राज्यसभा सदन को बताया।

केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने उत्तराखंड में ऋषिकेश से जानकी चट्टी (यमुनोत्री), गंगोत्री, गौरीकुंड(केदारनाथ), मैना (बद्रीनाथ) और कैलाश-मानसरोवर मार्ग के टनकपुर से पिथौरागढ़ सेक्शन तक 825 किलोमीटर लंबी ऑल-वेदर सड़क बनाने की योजना बनाई है। उम्मीद है कि इसके बाद उतराखंड में हो रहे हादसों में कमी आ सकेगी।

नितिन गडकरी ने दी जानकारी

केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने यह बात आप पार्टी के सदस्य नारायण दास गुप्ता के अतारांकित सवालों के जवाब में कही है। उन्होंने कहा, “पहले इस निर्माण को मार्च 2020 तक पूरा करने के लिए लक्ष्य रखा गया था। लेकिन नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल और सुप्रीम कोर्ट में चल रहे लिटिगेशन के कारण इसमें देरी हुई।

गठित की गई समिति

सुप्रीम कोर्ट ने 8 अगस्त, 2019 को प्रोफेसर रवि चोपड़ा की अध्यक्षता में एक उच्चाधिकार प्राप्त कमेटी की गठन किया गया। यह मामला अभी भी लंबित है। ”ये बात भी मंत्री ने सड़क परियोजनाओं की अनुमानित लागत के एक अतारांकित सवाल के जबाव में कही है। जोशीमठ में हुए हादसे को देखते हुए CMO की तरफ से जारी किए गए बयान में कहा गया है कि उत्तराखंड के सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने चमोली में ग्लेशियर के फटने के बाद आपदा राहत अभियान की समीक्षा बैठक की, राहत और बचाव कार्य के लिए राज्य आपदा प्रतिक्रिया कोष से 20 करोड़ रुपये जारी किए गए है।

आईटीबीपी की भारी तैनाती

उत्तराखंड में जोशीमठ में आईटीबीपी के एडीजी मनोज रावत ने कहा है कि ग्लेशियर फटने के दौरान रैणी गांव में पुल गिरने के बाद मलारी और घनसाली जैसे करीब 13 गांव इलाके से कट गए हैं। भारत-चीन सीमा के पास आईटीबीपी की भारी तैनाती है। हमने उन्हें अलर्ट किया है। ITBP, सेना, SDRF और NDRF की संयुक्त टीम ने चमोली में तपोवन सुरंग में एंट्री कर ली है। ये टीम टनल को साफ करके राहत बचाव कार्य में लगी है।

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