नवयुग कन्या महाविद्यालय में हुआ पेरेंट टीचर फॉरम

यह भी बताया गया कि महाविद्यालय में प्रत्येक छात्रा का एक निश्चित टाइम टेबल है जिसे वे ध्यान में रखें और सुनिश्चित करें की उसी के अनुसार छात्रा घर वापस हो रही हो

नवयुग कन्या महाविद्यालय में दो दिवसीय पैरंट टीचर मीटिंग संपन्न हुई। प्रोफेसर मंजुला उपाध्याय एवं पैरंट टीचर फोरम के सदस्य डॉक्टर सुनीता द्विवेदी, डॉक्टर चनप्रीत, डॉक्टर निशा, डॉ चंदन मौर्य एवं ऐश्वर्या उपस्थित रहे। विशेष आमंत्रित सदस्य श्रीमती ललिता एवं डॉ अपूर्व भी इस फोरम में उपस्थित रहे । 13 दिसंबर को b.a. की छात्राओं एवं 14 दिसंबर को बीएससी एवं बीकॉम की छात्राऒ के अभिभावक आमंत्रित किए गए। सत्र की इस मीटिंग में नई शिक्षा नीति, सेमेस्टर की परीक्षाओं, छात्राओं के अनुशासन ,कक्षाओं में उनकी कम उपस्थिति, एवं महाविद्यालय प्रांगण में

कोविड-19 कॆ नियमो के पालन में आने वाली समस्याओं के संबंध में अभिभावकों से चर्चा की गई ।13 दिसंबर को कार्यक्रम का आरंभ डॉ सुनीता द्विवेदी द्वारा अभिभावकों के स्वागत से किया गया एवं 14 दिसंबर को कार्यक्रम का संचालन डॉक्टर चनप्रीत द्वारा किया गया ।महाविद्यालय में अभिभावकों ,टीचर एवं छात्राओं के आपसी समन्वय से ही उनके भविष्य को उज्जवल कर पाने की आवश्यकता पर बल दिया गया। मनोविज्ञान विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ सृष्टि श्रीवास्तव ने समाज में हो रहे परिवर्तनों और छात्राओं पर पड रहे प्रभावों से सचेत रहने और बेटियों पर अधिक ध्यान देने की आवश्यकता पर बल दिया। इसके पश्चात प्राचार्या प्रोसेसर मंजुला उपाध्याय ने अपने अत्यंत महत्वपूर्ण एवं सारगर्भित उद्बोधन में महाविद्यालय की छात्राओं के हित में चल रहे स्किल डेवलपमेंट कार्यक्रमों के बारे में बताते हुए इसकी आवश्यकता पर बल दिया।

प्राचार्य ने यह भी बताया कि यह स्किल कोर्स अतिरिक्त कक्षाओं में चलते हैं और यह नई शिक्षा नीति के आवश्यक अंग है। अतः अभिभावक अपनी बेटियों को नियमित कक्षाओं के साथ-साथ स्किल कक्षाओं में भी उपस्थित रहना सुनिश्चित करें और उन्हें प्रोत्साहित भी करें। इसके अतिरिक्त प्रो उपाध्याय ने अन्य कई महत्वपूर्ण विषयों जैसे अनुशासन, महाविद्यालय प्रांगण की स्वच्छता और कक्षाओं में उपस्थिति जैसे गंभीर विषयों पर सभी अभिभावकों से सहयोग की अपेक्षा की और उन्हें अपनी बेटियों को इस विषय पर समय-समय पर निर्देशित करते रहने का आग्रह किया। अभिभावकों को

यह भी बताया गया कि महाविद्यालय में प्रत्येक छात्रा का एक निश्चित टाइम टेबल है जिसे वे ध्यान में रखें और सुनिश्चित करें की उसी के अनुसार छात्रा घर वापस हो रही हो क्योंकि बेटियों की सुरक्षा महाविद्यालय के लिए अमूल्य विषय है। इस इन मीटिंग की विशेष बात यह थी की प्राचार्य प्रोफ़ेसर उपाध्याय एवं अभिभावकों के साथ विभिन्न विषयों पर द्विपक्षीय वार्तालाप भी हुई ।अभिभावकों ने अपनी समस्याएं रखी जिसका समाधान प्राचार्य एवं अन्य प्रवक्ताओं द्वारा किया गया अभिभावकों ने कुछ सुझाव भी दिए जिन्हें फीडबैक फॉर्म में लिखवाया गया और उन पर अमल करने के लिए प्राचार्य द्वारा आश्वासन दिया गया।

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